EPFO Pension: नौकरी में गैप होने पर ऐसे होगी 10 साल की पेंशन कैलकुलेट
यूएएन नंबर को एक्टिव रखना है सबसे जरूरी
अगर आपने पहली कंपनी में 5 साल काम किया और फिर किसी वजह से 2 साल तक कोई नौकरी नहीं की, लेकिन उसके बाद किसी नई कंपनी में जॉइन किया और उसी पुराने यूएएन (Universal Account Number) का उपयोग किया, तो आपकी पहली नौकरी की सेवा अवधि भी जुड़ जाएगी। यानी आपकी नई कंपनी में सेवा शुरू होते ही आपकी पुरानी सेवा अवधि जुड़कर कुल कार्यकाल गिना जाएगा। ये इसलिए जरूरी है क्योंकि पेंशन के लिए EPFO कम से कम 10 साल की सेवा अनिवार्य मानता है।
इसलिए जब भी आप नौकरी बदलें या कुछ समय का ब्रेक लें, तो यूएएन को एक्टिव रखना न भूलें। यूएएन एक्टिव रहेगा तो PF खाता और पेंशन स्कीम की जानकारी एक साथ लिंक हो जाएगी और कुल सेवा अवधि का सटीक रिकॉर्ड बना रहेगा।
कैसे होती है पेंशन की गणना?
EPFO के नियम के अनुसार, पेंशन की गणना आपके अंतिम वेतन और कुल सेवा अवधि के आधार पर होती है। अगर आपने 10 साल से ज्यादा की सेवा पूरी की है तो आप पेंशन के लिए पात्र हैं। लेकिन अगर सेवा 10 साल से कम है, तो आप EPFO से पेंशन स्कीम के तहत जमा रकम निकाल सकते हैं, हालांकि उस पर ब्याज नहीं मिलेगा। ये रकम एक तय फॉर्मूले के आधार पर कैलकुलेट होती है, जिसमें आपकी सेवा अवधि और अंतिम वेतन की भूमिका होती है।
क्यों जरूरी है पेंशन की तैयारी पहले से करना?
रिटायरमेंट के बाद आय का कोई स्थायी स्रोत न होने की स्थिति में EPFO की पेंशन स्कीम बेहद मददगार होती है। इसलिए जरूरी है कि आप अपनी नौकरी के दौरान न सिर्फ PF में योगदान करें बल्कि यूएएन को हमेशा एक्टिव रखें, ताकि नौकरी बदलने या ब्रेक लेने के बावजूद आपकी पुरानी सेवा जुड़ती रहे और 10 साल का कार्यकाल आसानी से पूरा हो सके।
अगर आप EPF के तहत पेंशन पाना चाहते हैं, तो ये जानना जरूरी है कि सेवा में गैप आने पर भी आपका पुराना कार्यकाल जोड़ा जा सकता है, बशर्ते आपका यूएएन एक्टिव हो और आपने नई नौकरी में उसी यूएएन का इस्तेमाल किया हो। इस तरह 10 साल की जरूरी सेवा पूरी कर आप रिटायरमेंट के बाद पेंशन का लाभ ले सकते हैं।