8th Pay Commission : कर्मचारियों की हुई मौज, 18000 से 79000 हो जाएगी सैलरी, देखें कैलकुलेशन

कर्मचारियों की सैलरी में हो सकती है बड़ी बढ़ोतरी
सरकार के सूत्रों की मानें तो आठवें वेतन आयोग के बाद कर्मचारियों का वेतन 18,000 रुपये से बढ़कर करीब 79,000 रुपये तक पहुंच सकता है। इस बात से कर्मचारियों में उत्साह काफी बढ़ गया है।
सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए अभी सबसे बड़ी चर्चा का विषय है कि क्या इस बार डीए (Dearness Allowance) को बेसिक सैलरी में मर्ज किया जाएगा या नहीं। मार्च महीने में ही सरकार ने 2 प्रतिशत डीए बढ़ाया था, जिसके बाद अब यह 55 प्रतिशत तक पहुंच चुका है।
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डीए और बेसिक सैलरी के बीच संबंध
पिछले वेतन आयोगों में जब फिटमेंट फैक्टर लागू किया जाता था, तो डीए को पहले बेसिक सैलरी में शामिल किया जाता था। इसी आधार पर कर्मचारियों को बढ़ोतरी दी जाती थी। इस बार भी ऐसा ही हो सकता है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अगर इस बार डीए को बेसिक सैलरी में मिला दिया जाता है और फिर फिटमेंट फैक्टर लगाया जाता है, तो फिटमेंट फैक्टर को कम रखा जा सकता है। इससे वेतन वृद्धि के दौरान सरकारी खर्च पर नियंत्रण रखा जा सकेगा।
वर्तमान में सरकारी कर्मचारियों का वेतन स्तर
अब 7वें वेतन आयोग के अनुसार, लेवल 1 पर कार्यरत कर्मचारियों की न्यूनतम बेसिक सैलरी लगभग 18,000 रुपये है। अगर इसमें 55 प्रतिशत डीए जोड़ दिया जाए, तो कुल वेतन लगभग 27,900 रुपये हो जाएगा।
अगर फिटमेंट फैक्टर इस नई राशि पर लागू किया जाता है, तो कर्मचारियों को पहले से कहीं ज्यादा वेतन मिल सकता है। ऐसे में कर्मचारियों की सैलरी में काफी बड़ा इजाफा हो सकता है जो आर्थिक रूप से सभी के लिए राहत भरा होगा।
फिटमेंट फैक्टर क्या होता है?
फिटमेंट फैक्टर एक ऐसा गुणक होता है, जिसके आधार पर कर्मचारियों के मूल वेतन को बढ़ाया जाता है। अभी सरकार ने फिटमेंट फैक्टर पर कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की है, लेकिन मीडिया में चर्चा है कि यह 1.92 से 2.86 के बीच हो सकता है।
अगर फिटमेंट फैक्टर 2.57 के करीब रहता है, जो कि पिछले वेतन आयोग में भी था, तो कर्मचारियों की सैलरी लगभग 71,700 रुपये तक बढ़ सकती है। वहीं अगर 2.86 तक जाता है, तो यह लगभग 79,800 रुपये तक पहुंच जाएगी।
पिछले वेतन आयोगों की तुलना
पिछले वेतन आयोगों में भी फिटमेंट फैक्टर का रोल काफी अहम रहा है। 7वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 था, लेकिन उस दौरान महंगाई भत्ते को ज्यादा समायोजित करना पड़ा था, जिसकी वजह से वेतन वृद्धि अपेक्षित से कम हुई।
8वें वेतन आयोग में सरकार ने प्रयास किया है कि फिटमेंट फैक्टर को सही तरीके से लागू किया जाए ताकि कर्मचारियों को वास्तविक लाभ मिल सके।
डीए के मर्जिंग पर कर्मचारियों की उम्मीदें
कर्मचारी संगठनों की मानना है कि अगर इस बार डीए को बेसिक सैलरी में मर्ज किया गया तो वेतन वृद्धि में खासा फायदा होगा। इससे न केवल कर्मचारियों का वेतन बढ़ेगा, बल्कि उनकी आर्थिक स्थिति भी मजबूत होगी।
यह भी संभव है कि इस बार सरकार फिटमेंट फैक्टर को थोड़ा कम रखे और डीए को बेसिक सैलरी में मिलाने का फॉर्मूला अपनाए। इससे कर्मचारियों को कुल मिलाकर अच्छी सैलरी मिल सकेगी।
वेतन आयोग की रिपोर्ट कब तक आएगी?
8वें वेतन आयोग की रिपोर्ट आने में सामान्य तौर पर 18 से 26 महीने का समय लगता है। सरकार ने जनवरी में इसका गठन तो कर दिया, लेकिन अभी तक इसका पूरा पैनल नहीं बना है।
ऐसा माना जा रहा है कि 2027 तक इस आयोग की रिपोर्ट आ सकती है और इसके बाद सिफारिशों को लागू करने की प्रक्रिया शुरू होगी। कर्मचारियों को अभी से तैयार रहना होगा कि वेतन में बदलाव कब से शुरू होगा।