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अमेरिका की तरह UN भी क्यों छोड़ना चाहता है अफगानिस्तान, क्या है वजह

UN in Afghanistan: संयुक्त राष्ट्र द्वारा काम पर रखे गए 3,300 अफगान ( 2,700 पुरुष और 600 महिलाएं)- 12 अप्रैल से घर पर हैं, लेकिन फिर भी काम करना जारी रख हुए हैं. संयुक्त राष्ट्र के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा, ‘उन्हें भुगतान किया जाएगा.’

 
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Afghanistan News: संयुक्त राष्ट्र जल्द ही तालिबान शासन के तहत रहने वाले लाखों अफगान नागरिकों को छोड़कर सकता है. यूएन अगर अफगानिस्तान के कट्टरपंथी शासकों को स्थानीय महिलाओं को संगठन के लिए काम करने के लिए राजी करने में नाकाम रहा तो यह कदम उठा सकता है.

संयुक्त राष्ट्र के अधिकारी अफगान सरकार के साथ बातचीत कर रहे हैं, उम्मीद है कि तालिबान अपने उस महिला-विरोधी आदेश के लिए एक अपवाद स्वीकार करेगा जो स्थानीय महिलाओं को संगठन के लिए काम करने से प्रतिबंधित करता है.

हम अभी यहां हैं लेकिन
संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (यूएनडीपी) के प्रशासक अचिम स्टेनर ने एसोसिएटेड प्रेस को बताया, ‘यह कहना उचित है कि हम अभी यहा हैं,  हालांकि पूरे संयुक्त राष्ट्र प्रणाली को एक कदम पीछे हटना है और यहां काम करने की अपनी क्षमता का पुनर्मूल्यांकन करना है लेकिन यह मौलिक सिद्धांतों, मानवाधिकारों से समझौते के बारे में नहीं है.’

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देश को कामकाजी महिलाओं की सख्त जरुरत
स्टेनर ने कहा कि तालिबान ने अफगान महिलाओं को कुछ काम करने की अनुमति दी है. संयुक्त राष्ट्र द्वारा ही जारी एक रिपोर्ट से पता चला है कि देश को कामकाजी महिलाओं की सख्त जरूरत है. उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान की कुछ आर्थिक समस्याओं की वजह ज्यादातर महिलाओं का वर्कप्लेस से बाहर होना है.

मई में अफगानिस्तान से जा सकता है यूएन
संयुक्त राष्ट्र ने फैसला किया है कि अगर तालिबान ने महिलाओं को काम करने देने की अपनी मांगों पर भरोसा नहीं किया तो वह मई में अफगानिस्तान छोड़ देगा.

इस महीने तालिबान ने महिलाओं पर लगाई गई पाबंदियों को एक कदम और बढ़ाया और कहा कि संयुक्त राष्ट्र मिशन में कार्यरत महिला अफगान कर्मचारी अब काम के लिए रिपोर्ट नहीं कर सकती हैं.

स्टेनर ने कहा, ‘यह एक बहुत ही मौलिक क्षण है जिसकी तरफ हम बढ़ रहे हैं और स्पष्ट रूप से हमारी आशा और अपेक्षा यह है कि कुछ कॉमन सेंस अब भी बची होगी.’

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भोजन, शिक्षा, स्वास्थ्य संबंधी मदद कर रही हैं संस्थाएं
तालिबान की सत्ता में वापसी और उसके बाद हुए आर्थिक पतन के बाद से सहायता एजेंसियां ​​अफगानों को भोजन, शिक्षा और स्वास्थ्य संबंधी सहायता प्रदान कर रही हैं.

संयुक्त राष्ट्र द्वारा काम पर रखे गए 3,300 अफगान ( 2,700 पुरुष और 600 महिलाएं)- 12 अप्रैल से घर पर हैं, लेकिन काम करना जारी रख हुए हैं. संयुक्त राष्ट्र के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने कहा, ‘उन्हें भुगतान किया जाएगा.’

संयुक्त राष्ट्र के 600 अंतर्राष्ट्रीय कार्यकर्ता, जिनमें 200 महिलाएं शामिल हैं, तालिबान प्रतिबंध से प्रभावित नहीं हैं.