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wheat price Today: गेंहू के रेट में आई बढ़ोतरी, जानिए आज के ताजे रेट

wheat price Today: गेहूं की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं, इसलिए आज गेहूं की कीमत आम उपभोक्ताओं को महंगी पड़ रही है, जबकि किसानों को पहले से अधिक दाम मिल रहे हैं। 
 
wheat price today
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wheat price Today: गेहूं की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं, इसलिए आज गेहूं की कीमत आम उपभोक्ताओं को महंगी पड़ रही है, जबकि किसानों को पहले से अधिक दाम मिल रहे हैं। 

गेहूं का सबसे बड़ा उत्पादक राज्य उत्तर प्रदेश में गेहूं की कीमतें हाल ही में काफी बढ़ गई हैं, जो यह संकेत देता है कि अन्य राज्यों में गेहूं की कीमतें अब और भी उच्च स्तर पर पहुंच जाएंगी।

गेहूं की कीमतों में इस महीने के अंत तक कोई गिरावट नहीं होने का अनुमान लगाया जा रहा है। गेहूं का भाव (gehu ka bhav) तेजी से बनी रहेगी जब तक कि मंडियों में नई आवक नहीं आती।


गेहूं का प्रति क्विंटल मूल्य

गेहूं की कीमतों में भारी बढ़ोतरी ने आम लोगों को और अधिक परेशान कर दिया है। उत्तर प्रदेश की मंडियों में गेहूं की कीमतें न्यूनतम गेहूं समर्थन मूल्य (MSP) 2275 रुपये प्रति क्विंटल से 30% अधिक हो गई हैं। गेहूं का वर्तमान औसत रेट ३०५० रुपये प्रति क्विंटल है। इसके भाव कुछ मंडियों (wheat mandi price) में इससे भी ऊपर पहुंच गए हैं।

 

 

यूपी की टूंडला मंडी में इसका भाव 3060 रुपये प्रति क्विंटल हो गया है। इसलिए उपभोक्ताओं को 4 फरवरी को गेहूं की कीमत अधिक होगी।
आटे की कीमत भी बढ़ेगी-

गेहूं की दर आज बढ़ने से आटे सहित गेहूं से बने उत्पाद भी अधिक महंगे होने की संभावना है। फिलहाल, आटे का खुदरा मूल्य लगभग ४५ रुपये प्रति किलो है। यदि परिस्थितियां ऐसी रहती हैं तो फरवरी के अंत तक आटे की कीमत 50 रुपये प्रति किलो तक पहुंच सकती है।
 सरकार ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए खाद्य निगम के माध्यम से बाजार में 25 लाख टन अतिरिक्त गेहूं भेजने की योजना बनाई है। चेन सप्लायर्स और खरीदारों की भंडारण सीमा भी घटाई गई है।  फिलहाल यूपी की छोटी-छोटी मंडियों में गेहूं की कीमत इस प्रकार है

गेहूं थोक मंडी    न्यूनतम मूल्य      अधिकतम मूल्य 


भरुआसुमेरपुर    2,780        2,790
मुस्करा        2,810        2,810
लखीमपुर    2,750        2,760
तिकुनिया        2,610        2,610
बांगरमऊ        2,720        2,720
जालौन        2,796        2,796
अतर्रा एपीएमसी    2,512        2,510
पवैया        2,710        2,710
टूंडला        2,950        3,010
नोट - भाव रुपये प्रति क्विंटल में हैं।

गेहूं की आपूर्ति और मांग का संतुलन बिगड़ा

गेहूं की मांग के अनुरूप आपूर्ति नहीं हो रही लगता है, क्योंकि गेहूं की कीमतें बढ़ती जा रही हैं। कई व्यापारियों का मानना है कि गेहूं की आपूर्ति बाजार पर दबाव डालती है, इसलिए रेट बढ़ते जा रहे हैं। भारतीय खाद्य निगम (Food Corporation of India) का कहना है कि भारत में गेहूं की आपूर्ति अब संतुलित है क्योंकि लगभग 225 लाख टन गेहूं सरकारी भंडार में है। जरूरत से कहीं अधिक बफर स्टॉक—करीब 206 लाख मीट्रिक टन गेहूं—विभिन्न संस्थाओं और राज्य संगठनों द्वारा रखा गया है। 


गेहूं के भाव को नियंत्रित करने का प्रयास-

गेहूं की बाजार कीमतें अभी भी ऊंची हैं, जिससे सरकारी कदम से गेहूं की बाजार कीमत कम होने की उम्मीद है (gehu ka taja bhav)। सरकार इस प्रक्रिया को गेहूं वितरण में और सुधार करना चाहती है। केंद्रीय सरकार ने अनाज की कीमतों को नियंत्रित करने के लिए 25 लाख टन अतिरिक्त गेहूं को बाजार में लाने के लिए ई-ऑक्शन, यानी ऑनलाइन गेहूं नीलामी की सीमा लगाई है। 

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