Income Tax on FD : FD के ब्याज पर Income Tax को देना पड़ेगा इतना टैक्स
Income Tax on FD (Haryana Update) : अक्सर लोग अपनी आय में से बचत को कहीं न कहीं निवेश कर देते हैं। इसमें निवेश का एक तरीका FD है। लोग बैंकों में FD करवाकर अपने पैसों को भविष्य के लिए अच्छे ब्याज के साथ सुरक्षित निवेश के रूप में देखते हैं। लेकिन, FD करवाने से पहले (Income Tax FD Rules) आपको यह जान लेना चाहिए कि इस पर इनकम टैक्स भी लगता है। कुछ ऐसे तरीके हैं, जिनसे आपकी FD पर टैक्स नहीं लगेगा, आइए इस लेख में FD और इनकम टैक्स के बारे में सबकुछ जानते हैं।
जब कोई भी उपभोक्ता बैंक में FD करवाता है तो वह यह सोचकर करवाता है कि इसमें उसका पैसा पूरी तरह सुरक्षित है। बहुत से लोगों को यह नहीं पता होता कि FD के मुनाफे पर भी आपको भारी भरकम टैक्स देना पड़ता है। सरकार की ओर से FD के मुनाफे पर टैक्स (Fixed Deposit Interest Tax Rate) लगाया जाता है। अगर आप FD करवाना चाहते हैं तो आपको इसके बारे में ये जरूरी नियम जरूर जान लेने चाहिए।
गारंटेड ब्याज के लिए की जाती है FD-
निवेश के लिए फिक्स्ड डिपॉजिट काफी लोकप्रिय है। लोग FD इसलिए चुनते हैं क्योंकि यहां लोगों को अपने पैसों पर गारंटीड ब्याज मिलता है। इसी वजह से लोग इसमें पैसा लगाते हैं। बहुत से लोगों को FD पर लगने वाले टैक्स के बारे में जानकारी नहीं होती है। FD कई तरह की होती हैं।
FD पर कैसे लगता है इनकम टैक्स-
FD पर निवेशकों को अच्छी खासी रकम ब्याज के रूप में मिलती है। FD पर मिलने वाला सालाना ब्याज आपकी आय में जुड़ता है। अगर आपकी आय इनकम टैक्स नियमों के दायरे में आती है तो आपके ब्याज पर भी समानांतर टैक्स लगेगा। आप जिस भी इनकम टैक्स स्लैब में आते हैं, आपको उसी स्लैब के हिसाब से टैक्स देना होगा। जब आप अपना ITR भरते हैं तो उसे अन्य स्रोतों से होने वाली आय माना जाता है।
FD के ब्याज पर भी कटता है TDS-
FD पर भी TDS कटता है। इसमें अगर आपने एक साल में 40 हजार रुपये से ज्यादा ब्याज कमाया है तो आपकी आय पर 10 फीसदी TDS कटेगा। 40 हजार से कम पर कोई TDS नहीं लगता। सीनियर सिटीजन के लिए FD के 50 हजार रुपये तक के ब्याज पर TDS नहीं लगता।
इस FD पर नहीं लगेगा कोई टैक्स-
अगर आप FD (आयकर मुक्त FD) में टैक्स से बचना चाहते हैं तो 5 साल की FD कराएं। पांच साल की FD को टैक्स सेविंग FD भी कहते हैं। यह FD आप बैंक या पोस्ट ऑफिस में करा सकते हैं। आयकर अधिनियम की धारा 80C के अनुसार, पांच साल की FD (कर मुक्त FD) पर उपभोक्ता को लाभ मिलता है। धारा 80C के अनुसार, आप अपनी कुल आय से 150000 रुपये की कटौती का दावा कर सकते हैं। इस राशि तक का निवेश कर मुक्त है। अगर आप इसे पांच साल से पहले तोड़ते हैं, तो न केवल आपको बैंक पेनल्टी लगेगी, बल्कि आपको कोई टैक्स राहत भी नहीं मिलेगी।