हरियाणा के ये शहर बदलेगे स्मार्ट सिटी मे, मिलेगी ये हाइटेक सुविधाएं...
हरियाणा में अब शहरों का विकास रिसर्च के आधार पर किया जाएगा। इसके लिए टाउन एंड कंट्री प्लानिंग डिपार्टमेंट एक सेंटर फॉर एक्सीलेंस शुरू करेगा। इस सेंटर का संचालन प्राइवेट एजेंसी करेगी, जिसमें एक्सपर्ट और अपनी बिल्डिंग होगी। इस प्रोजेक्ट पर 525 करोड़ रुपए खर्च होंगे। प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।
Haryana Update : सेंटर का मकसद हरियाणा में छोटे और मध्यम स्तर के शहरों का प्लानिंग के लिए हिसाब से डेवलपमेंट करना है। ताकि लोगों का जीवन स्तर बेहतर हो सके। विभाग का मानना है कि हरियाणा में एक दशक में शहरों में लोगों की ग्रोथ 44 प्रतिशत हुई है। इतना ही नहीं प्रदेश में जो शहर बसे हुए हैं, वहां उसके बाहरी इलाके में 89 प्रतिशत लोग रहते हैं।
सरकारी एजेंसियों की तरफ ज्यादा प्रयास न होने की वजह से कॉलोनाइजर अवैध कॉलोनियों बसा रहें हैं। जिससे शहरों के नियोजित तरीके से बसे शहरों में बिजली, पानी, सफाई आदि की दिक्कत आने लगी है। इसलिए अब सभी शहरों को नियोजित तरीके से बसाया जाएगा।
यह होगा सेंटर का काम
सेंटर फॉर एक्सीलेंस शहरों को लेकर रिसर्च करेगा। जीआईएस मैपिंग होगी। ताकि यह पता लग सके कि किस शहर में किस तरफ लोग ज्यादा बस रहें हैं। वहां, किस तरफ शहर का विकास किया जा सकता है। वहां अभी बिजली, पानी, सड़क, सीवरेज, प्रदूषण आदि की क्या स्थिति है। उसे कैसे बेहतर किया जा सकता है। शहरों में पॉलिसी बनाने, शहरों में रहने वाले लोग और सरकार के सामने क्या चैलेंज है और उनसे कैसे निपटा जाए, यह भी इस सेंटर द्वारा रिपोर्ट में बताया जाएगा।
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ऐसे बढ़ेगी दोनों बड़े शहरों की आबादी
विभाग का मानना है कि 2041 तक गुड़गांव की आबादी 40 लाख तो फरीदाबाद की आबादी 30लाख हो जाएगी। ऐसे में छोटे व मध्यम शहरों में विकास की जरूरत है। क्योंकि वहां अभी ज्यादातर कॉलोनियां प्राइवेट लोगों द्वारा ही बसाई जा रही है। इसलिए यहां सरकारी सिस्टम को भी काम करना होगा। सेंटर द्वारा नगर निकायों की स्थिति भी बेहतर की जाएगी।