EPFO New Rules : 7 करोड़ PF खाताधारकों के लिए 5 बड़े अपडेट, जाने डिटेल मे

1. ऑनलाइन प्रोफाइल अपडेट की सुविधा
अब EPFO ने अपने सदस्यों के लिए प्रोफाइल अपडेट की प्रक्रिया को बेहद आसान बना दिया है। अगर आपका UAN आपके आधार से लिंक है, तो अब आप बिना किसी दस्तावेज़ के अपना नाम, जन्मतिथि, लिंग, राष्ट्रीयता, माता-पिता का नाम, वैवाहिक स्थिति, जीवनसाथी का नाम और नौकरी शुरू करने की तारीख जैसी जानकारियाँ ऑनलाइन बदल सकते हैं। हालांकि, 1 अक्टूबर 2017 से पहले बने UAN वाले कुछ सदस्यों को इसके लिए कंपनी की अनुमति की आवश्यकता हो सकती है।
2. नौकरी बदलने पर PF ट्रांसफर होगा आसान
पहले नौकरी बदलने पर पीएफ ट्रांसफर करना एक जटिल और लंबी प्रक्रिया होती थी। इसमें पुरानी और नई कंपनी की मंजूरी आवश्यक होती थी। लेकिन 15 जनवरी 2025 से यह प्रक्रिया बेहद सरल हो गई है। अब अधिकतर मामलों में, न तो पुरानी कंपनी और न ही नई कंपनी की अनुमति की जरूरत होती है। इस बदलाव से पीएफ का पैसा आसानी से नए खाते में ट्रांसफर हो जाता है।
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3. घर बैठे जमा कर सकते हैं ज्वॉइंट डिक्लेरेशन
16 जनवरी 2025 से EPFO ने UAN और संयुक्त घोषणा की प्रक्रिया को पूरी तरह डिजिटल कर दिया है। अगर आपका UAN आधार से जुड़ा हुआ है या आधार पहले से वेरिफाइड है, तो आप घर बैठे ऑनलाइन ही ज्वॉइंट डिक्लेरेशन जमा कर सकते हैं। हालांकि, जिन सदस्यों का UAN नहीं बना है, आधार लिंक नहीं है या सदस्य का निधन हो गया है, उनके लिए अभी भी फिजिकल फॉर्म भरने की आवश्यकता होगी।
4. किसी भी बैंक खाते में ट्रांसफर कर सकते हैं PF का पैसा
EPFO ने 1 जनवरी 2025 से एक नई सेंट्रलाइज्ड पेंशन पेमेंट सिस्टम (CPPS) शुरू किया है। इसके अंतर्गत पेंशन का पैसा अब सीधे एनपीसीआई प्लेटफॉर्म के जरिए किसी भी बैंक खाते में ट्रांसफर किया जा सकेगा। पहले, पेंशन ट्रांसफर के लिए PPO को एक क्षेत्रीय कार्यालय से दूसरे कार्यालय में भेजा जाता था, जिससे प्रक्रिया में देरी होती थी। लेकिन अब इस प्रक्रिया को बंद कर दिया गया है। नए PPO को UAN से लिंक करना अनिवार्य किया गया है, जिससे पेंशनर्स डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट भी आसानी से जमा कर सकते हैं।
5. पार्शियल पेंशन पर स्थिति साफ
अब EPFO ने अधिक वेतन पर पेंशन के नियमों को स्पष्ट कर दिया है। यदि कोई सदस्य तय सीमा से अधिक वेतन पर पेंशन चाहता है, तो उसे PF में अतिरिक्त योगदान करना होगा। जो कंपनियाँ EPFO के तहत नहीं आतीं और अपनी अलग ट्रस्ट स्कीम चलाती हैं, उन्हें भी अब इन नए नियमों का पालन करना होगा।
EPFO के इन नए सुधारों ने न सिर्फ सदस्यों की प्रक्रिया को सरल बनाया है, बल्कि पारदर्शिता और डिजिटल सशक्तिकरण को भी बढ़ावा दिया है। अब EPFO सिर्फ पैसे जमा करने का तरीका नहीं रहा, बल्कि एक आधुनिक डिजिटल प्लेटफार्म बन गया है। इन बदलावों से कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को बड़ी राहत मिली है और उनका अनुभव भी बेहतर हुआ है।