Breaking News: हाई कोर्ट ने लिया है बड़ा फैसला, बिना तलाक के Live-in Relationship में रहना होगा कानून के बाहर
Haryana Update: इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कहा कि वे उस महिला की रक्षा नहीं कर सकते जिसने अपने पति को छोड़ दिया है और अब किसी और के साथ डेटिंग कर रही है। अदालत ने यह भी कहा कि वे बिना शादी किए एक साथ रहने वाले जोड़ों के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन वे ऐसे रिश्तों का समर्थन नहीं करते हैं जिनकी कानून अनुमति नहीं देता है।
एक शादीशुदा महिला और उसके बॉयफ्रेंड ने हाई कोर्ट से पुलिस से सुरक्षा की मांग की, लेकिन कोर्ट ने कहा कि वे उनकी मदद नहीं कर सकते। कोर्ट ने कहा कि ऐसे रिश्तों का समर्थन करना सही नहीं है जो कानून के खिलाफ हों और समाज को नुकसान पहुंचा सकते हों। अदालत ने सुरक्षा के लिए पत्नी के अनुरोध को भी खारिज कर दिया क्योंकि वह किसी अन्य व्यक्ति के साथ रह रही है और डरती है कि उसका पति उसे चोट पहुंचा सकता है।
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न्यायमूर्ति रेनू अग्रवाल ने प्रयागराज की सुनीता व अन्य की दलीलें सुनने के बाद यह निर्णय दिया। सुनीता एक वयस्क महिला है जिसे अपने पति से परेशानी चल रही है। वह 6 जनवरी 2015 से किसी अन्य व्यक्ति के साथ खुशी-खुशी रह रही है। सुनीता का पति परेशानी पैदा कर रहा है और उसे सुरक्षा की जरूरत है। न तो सुनीता और न ही दूसरे व्यक्ति ने कोई अपराध किया है या उनके खिलाफ कोई कानूनी मामला है। सरकार ने तर्क दिया कि सुनीता किसी ऐसे व्यक्ति के साथ रह रही है जिससे उसकी शादी नहीं हुई है, जिसकी अनुमति नहीं है क्योंकि उसने अभी भी अपने पति से शादी की है।