IRAQ NEW PRESAIDENT : जानिए.... आख़िर कौन हैं इराक के नए राष्ट्रपति

इराकी कानून के मुताबिक, प्रधानमंत्री पद के लिए नामित उम्मीदवार के लिए मतदान करने से पहले सांसदों को राष्ट्रपति चुनना होता है. चार साल से इराक के राष्ट्रपति पद पर बरकरार बरहम सालिह की जगह, राशीद लेंगे.
 

Iraq President Update : इराक में नए राष्ट्रपति के चयन को लेकर पिछले एक साल से गतिरोध चल रहा था. अब इराक की संसद ने कुर्द राजनेता अब्दुल लतीफ राशीद(Abdul Latif Rashid) को राष्ट्रपति के रूप में चुन लिया है. . जानकारी के मुताबिक, 78 वर्षीय अब्दुल लतीफ राशिद(Abdul Latif Rashid) अब नई सरकार के गठन में भूमिका निभाएंगे.

इराकी कानून के मुताबिक, प्रधानमंत्री पद के लिए नामित उम्मीदवार के लिए मतदान करने से पहले सांसदों को राष्ट्रपति चुनना होता है. चार साल से इराक के राष्ट्रपति पद पर बरकरार बरहम सालिह की जगह, राशीद लेंगे.

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"जल संसाधन मंत्री रह चुके हैं राशिद"("Rashid has been the Minister of Water Resources")


बताया जा रहा है कि राशिद(Abdul Latif Rashid) पहले इराक के जल संसाधन मंत्री भी रह चुके हैं उन्होंने ब्रिटिश से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है. उन्होंने 2003 से 2010 तक यह जिम्मेदारी निभाई थी. राशिद के पास सरकार बनाने के लिए सबसे बड़े संसदीय ब्लॉक से एक उम्मीदवार को आमंत्रित करने के लिए 15 दिन का समय है.

इससे पहले इराक में राजनीतिक संकट(political emergency) हल करने के लिए बहुप्रतीक्षित सत्र से पहले 'ग्रीन जोन' में गुरुवार को संसद पर नौ रॉकेट दागे गए. इराकी सेना(iraq army) ने दावा किया कि इलाके को किले के रूप में तब्दील कर दिया गया था. सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद थी..जानकारी दी है.

इराक में संघीय चुनाव होने के बाद करीब एक साल तक सरकार का गठन नहीं हो पाया था. रॉकेट हमले की वजह से राष्ट्रपति के चुनाव के लिए आयोजित होने वाले संसद सत्र में देरी हुई. राष्ट्रपति चुनाव को इस मसले के हल के लिए एक अहम कदम माना जा रहा था.(After the federal elections in Iraq, the government could not be formed for almost a year. The Parliament session for the presidential election was delayed due to the rocket attack. The presidential election was being considered an important step to solve this issue.)

हमले कोऑर्डिनेशन फ्रेमवर्क(coordination framework) के बाद किए गए. बताया जा रहा है कि कम से कम 10 लोग हमले में घायल हुए हैं, जिनमें तीन आम नागरिक और दो सैन्यकर्मी शामिल हैं.  इसका मकसद सत्र को बाधित करना हो सकता है.