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भयंकर ठंड, हर तरफ लाशें ही लाशें… रहस्यमय जहाज की अनसुलझी कहानी

Mysterious Ship: आज से 75 साल पहले समुद्र में एक जहाज पर ऐसी रहस्यमय घटना घटी थी, जिसके बारे में जो कोई भी सुनता है, उसके रोंगटे खड़े हो जाते हैं. हैरान करने वाली बात ये है कि इतने सालों के बाद भी यह घटना आजतक अनसुलझी ही है.
 
भयंकर ठंड, हर तरफ लाशें ही लाशें… रहस्यमय जहाज की अनसुलझी कहानी

कभी-कभी दुनिया में कुछ ऐसी घटनाएं घट जाती हैं, जिसपर यकीन करना ही मुश्किल हो जाता है. वैसे तो पानी वाले जहाजों से जुड़े बहुत सारे किस्से हैं, जो लोगों को हैरान करते हैं, लेकिन कुछ किस्से सिर्फ हैरान ही नहीं करते बल्कि डरा कर भी रख देते हैं.

ऐसा ही एक किस्सा आज हम आपको बताने जा रहे हैं, जब 75 साल पहले समुद्र में एक जहाज पर ऐसी रहस्यमय घटना घटी थी, जिसके बारे में जो कोई भी सुनता है, उसके रोंगटे खड़े हो जाते हैं. हैरान करने वाली बात ये है कि इतने सालों के बाद भी यह घटना आजतक अनसुलझी ही है. 


यह घटना कुछ यूं है कि 1947 के जून महीने में मलक्का की खाड़ी से होकर कई व्यापारिक जहाज गुजर रहे थे, तभी उनके पास एक एसओएस मैसेज पहुंचा, जिसमें बताया गया कि जहाज के सभी क्रू मेंबर्स की मौत हो चुकी है.

अब ये संदेश मिलते ही कई जहाज उस ओर बढ़ गए, लेकिन सबसे पहले उस रहस्यमय जहाज के पास मर्चेन्ट शिप द सिल्वर स्टार पहुंचा, जो उससे सबसे कम दूरी पर मौजूद था. 

द सिल्वर स्टार जहाज जैसे ही उस रहस्यमय जहाज के पास पहुंचा, उसके क्रू मेंबर्स ये देख कर हैरान रह गए कि जहाज पर चारों तरफ लाशें ही लाखें बिछी हुई थीं. उनमें से कईयों की आंखें खुली हुई थीं, जिसे देख कर लग रहा था कि शायद वो बहुत डरे हुए थे, लेकिन सबसे हैरान करने वाली बात ये थी कि उनके शरीर पर किसी भी तरह के चोट के निशान नहीं थे, जिससे ये अंदाजा लगाया जा सके कि उनकी मौत कैसे हुई होगी. बस लगा कि वो रहस्यमय तरीके से मर गए.

कहते हैं कि जांच करते हुए जब द सिल्वर स्टार के क्रू मेंबर्स उस रहस्यमय जहाज के बॉयलर रूम में गए तो उनकी हालत भी खराब हो गई, क्योंकि बॉयलर रूम का तापमान 100 डिग्री सेल्सियस से ऊपर था, लेकिन इतनी गर्मी में भी उन्हें भयंकर ठंड लग रही थी. बस क्या था, सिल्वर स्टार के क्रू मेंबर्स भी डर गए और जल्दी से अपने जहाज की ओर भागने लगे. 


कहा जाता है कि सिल्वर स्टार के क्रू मेंबर्स के अपने जहाज पर पहुंचने से पहले ही रहस्यमय जहाज में आग लग गई और उसमें एक जोरदार धमाका हुआ. फिर पूरा का पूरा जहाज समुद्र के अंदर समा गया. अब ये घटना कैसे घटी थी, इसका पता आजतक नहीं चल पाया है. यही वजह है कि कुछ लोग उसे 'भूतिया जहाज' भी कहते हैं. वैसे उस जहाज को आमतौर पर 'द एस एस ओरंग मेडान' के नाम से जाना जाता है.
 

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